कारगिल विजय दिवस: कारगिल में शहीद सैनिकों को किया गया याद, पूर्व सैनिकों को भी किया गया सम्मानित

नई टिहरी

Uttarakhand

जनपद में आज कारगिल दिवस को ‘शौर्य दिवस’ के रूप में बड़े धूमधाम से मनाया गया। जगह-जगह स्कूली बच्चों द्वारा प्रभात फेरी निकाल कर देशभक्ति के गीतों के साथ शहीदों को श्रद्धांजलि दी गयी। ‘शौर्य दिवस‘ के अवसर पर जिला मुख्यालय टिहरी गढ़वाल के बौराड़ी स्थित नवनिर्मित युद्ध स्मारक में ‘‘शहीद सैनिकों को श्रद्धांजलि अर्पण’ कार्यक्रम आयोजित किया गया।

कार्यक्रम में मुख्य अतिथि विधायक टिहरी किशोर उपाध्याय एवं जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल डॉ. सौरभ गहरवाल, अध्यक्ष जिला पंचायत टिहरी गढ़वाल सोना सजवाण, मुख्य विकास अधिकारी मनीष कुमार, अपर जिला अधिकारी रामजी शरण शर्मा, अध्यक्ष नगर पालिका टिहरी सीमा कृषाली, एएसपी राजन सिंह, जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास अधिकारी ले.कर्नल जी.एस. चन्द (अ.प्रा.), एसडीएम टिहरी अपूर्वा सिंह, ब्लॉक प्रमुख जाखणीधार सुनीता देवी सहित अन्य गणमन्यों द्वारा कारगिल युद्ध के अमर शहीदों को पुष्पचक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी गयी।

जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास टिहरी गढ़वाल के तत्वाधान में आयोजित कार्यक्रम के तहत प्रातः स्कूली बच्चों द्वारा बौराड़ी चौक से युद्ध स्मारक तक प्रभात फेरी निकाली गई। युद्ध स्मारक में मुख्य अतिथि एवं अन्य गणमान्यों द्वारा शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। विभिन्न विद्यालयों के बच्चों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम किये गए। उत्तराखण्ड पुलिस बैण्ड प्लाटून-2 के कमाण्डर देवेन्द्र सिंह असवाल के निर्देशन में देशभक्ति, राष्ट्रगान एवं श्रद्धांजलि लय धुन बजाई गई। वहीं पुलिस जवानों द्वारा शहीदों के सम्मान में सलामी देकर 02 मिनट का मौन धारण कर श्रद्धांजलि दी गई।

इस मौके पर कारगिल शहीद सैनिकों की वीरंगनाओं एवं उनके आश्रितों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया गया, जिसमें सुनीता देवी पत्नी नायक शिव सिंह ग्रा.भ्यूपाणी कल्यासौड़, सुधा देवी पत्नी नायक दिनेश दत्त सी ब्लॉक ने टिहरी, पुत्र सिपाई सुंदर सिंह ग्रा. कटफोड फकोट, बासुरी देवी पत्नी रा.मै. बिजेन्द्र सिंह ग्रा. थापला लम्बगांव, दीपा देवी पत्नी ला.नायक जयपाल सिंह ग्रा.पिपलेथ जाजल, रोशनी देवी भाभी रा.मै. दिलवीर सिंह ग्रा. ठेला नैलचामी शामिल हैं। वहीं ऑपरेशन रक्षक के शहीद प्रवीन सिंह ग्रा. पुंडोली मल्याकोट नैलचामी के पिताजी प्रताप सिंह को भी शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया गया। इसके साथ ही अन्य युद्ध में योगदान देने वाले पूर्व सैनिकों को भी सम्मानित किया गया।

क्षेत्रीय विधायक उपाध्याय ने अमर शहीदों को नमन करते हुए कहा कि हमारे वीर सैनिकों के बलिदान के कारण ही देश सुरक्षित है, हम सुरक्षित है। सैनिकों के अनुशासन एवं उनके द्वारा देशा रक्षा के लिए प्राणों की अहुति तक दिये जाने का लिया गया प्रण एवं उसके तहत देश की रक्षा में अपने प्राणों का बलिदान करना वंदनीय है। देश सेवा में बलिदान हुए सैनिकों के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि वही होगी जब हम संकल्प लें कि अमर शहीदों के आश्रितों की चिन्ता की लकीरों मिटाकर उनके हितों की रक्षा करें। जिलाधिकारी डॉ. गहरवार ने वीर शहीदों के साथ ही उनकी वीरगंनाओं को नमन करते हुए कहा कि युद्ध में शहीद हुए सैनिकों के सर्वाेच्च बलिदान को कभी भुलाया नही जा सकता है, उनकी अमर गाथाएं इतिहास के पन्नों पर दर्ज हो चुकी हैं।

जिला सैनिक कल्याण अधिकारी एवं पुनर्वास अधिकारी ने कहा कि शौर्य दिवस हमें सैनिकों की कुर्बानियों की याद दिलाता है जब हमारे वीर सैनिकों ने अपने प्राणों की बाजी लगाकर पाकिस्तानी सेना द्वारा की गयी घुसपैठ, जिसका उद्देश्य जम्मू-श्रीनगर के लेह लद्दाख तथा सियाचिन से जोड़ने वाली अत्यन्त महत्त्वपूर्ण सड़क पर अपना नियन्त्रण करना था ताकि सियाचिन ग्लेशियर पर डटे भारतीय सैनिको के लिए खाद्य एवं गोला बारूद की आपूर्ती को बाधित किया जा सके। भारत-पाकिस्तान के बीच कारगिल युद्ध 09 मई से 26 जुलाई, 1999 (78 दिनों) तक चला था। इस जीत को हासिल करने में भारतीय सशस्त्र सेना ने अपने अदम्य साहस का परिचय दिया। इस युद्ध में उत्तराखण्ड के वीर सैनिकों ने भी हिस्सा लिया तथा उसमें राज्य के 75 रणबाकुरों ने अपना सर्वाेच्च बलिदान दिया। इन्ही रणबाकुरों में टिहरी जनपद के 12 वीर सपूत भी शामिल थे।

इस अवसर पर पूर्व सैनिक संगठन के अध्यक्ष देव सिंह पुण्डीर, मंच संचालक सुशील कोटनाला, रेंजर ऑफिसर वन प्रभाग आशीष डिमरी, तहसीलदार टिहरी आशीष घिल्डियाल, एडीओ सूचना भजनी भंडारी, सैनिक कल्याण विभाग के सभी ब्लॉक प्रतिनिधि सहित राकेश राणा, मीडिया कर्मी, स्कूली बच्चे, आम जनमानस आदि मौजूद रहे।

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