नई दिल्ली
जलवायु परिवर्तन के मुद्दे पर सोमवार को केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने अमेरिकी राष्ट्रपति के विशेष दूत जॉन केरी से मुलाकात की। भारत-अमेरिका जलवायु स्वच्छ ऊर्जा एजेंडा 2030 के तहत जलवायु कार्यवाही एवं वित्तीय संग्रहण संवाद यानी “क्लाइमेट एक्शन एंड फाइनेंस मोबिलाइजेशन डायलॉग (सीएएफएमडी) के शुभारंभ पर बोलते हुए यादव ने कहा कि भारत जलवायु परिवर्तन से निपटने और कार्बन उत्सर्जन को कम करने की दिशा में सक्रिय रूप से काम कर रहा है।
सीएएफएमडी भारत-यूएस के दो मुख्य ट्रैकों में से एक है। जलवायु और स्वच्छ ऊर्जा एजेंडा 2030 साझेदारी की घोषणा राष्ट्रपति जोसेफ बाइडेन और प्रधानमंत्री मोदी ने की थी।
नई दिल्ली में हुए एक कार्यक्रम में केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु मंत्री भूपेंद्र यादव और अमेरिका के राष्ट्रपति के जलवायु पर विशेष दूत (एसपीईसी) जॉन केरी ने इस संवाद का शुभारम्भ किया।
यादव ने कहा कि संवाद से न सिर्फ भारत-अमेरिका की जलवायु और पर्यावरण पर द्विपक्षीय भागीदारी को मजबूती मिलेगी, बल्कि इससे यह प्रदर्शित करने में भी सहायता मिलेगी कि कैसे दुनिया राष्ट्रीय परिस्थितियों और सतत् विकास की प्राथमिकताओं को ध्यान में रखते हुए समावेशी और लचीले आर्थिक विकास के साथ जलवायु पर तत्परता से एकजुट हो सकती है।
The dialogue will not only strengthen India-US bilateral cooperation on climate and environment but also help to demonstrate how the world can align swift climate action with inclusive and resilient economic development. pic.twitter.com/rkB4iH39dV
— Bhupender Yadav (@byadavbjp) September 13, 2021
पर्यावरण मंत्री ने दो परिपक्व और जीवंत लोकतंत्रों द्वारा साझा किए गए गहरे संबंधों पर जोर देते हुए कहा, “भारत और अमेरिका साझा मूल्यों के साथ स्वाभाविक भागीदार हैं और हमारे एजेंडे में रक्षा, सुरक्षा, ऊर्जा, प्रौद्योगिकी, शिक्षा और स्वास्थ्य सहित हमारी रणनीतिक प्राथमिकताओं के सभी प्रमुख स्तंभ शामिल हैं।”
“क्लाइमेट एक्शन एंड फाइनेंस मोबिलाइजेशन डायलॉग (सीएएफएमडी)” के शुभारंभ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केरी ने 2030 तक 450 गीगावॉट नवीनीकृत ऊर्जा हासिल करने का बड़ा लक्ष्य तय करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सराहना की और भारत को 100 गीगावॉट हासिल करने के लिए भारत को बधाई दी।
अमेरिका के जलवायु दूत ने यह दिखाने के लिए भारत के नेतृत्व की भूमिका की सराहना की कि कैसे आर्थिक विकास और स्वच्छ ऊर्जा पर एक साथ काम किया जा सकता है और उन्होंने कहा कि ग्लोबल क्लाइमेट एक्शन वक्त की जरूरत है। उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत और अमेरिका स्वच्छ ऊर्जा को तेजी से लागू करने की दिशा में काम कर रहे हैं।
शुभारम्भ से पहले एक द्विपक्षीय बैठक हुई, जहां दोनों पक्षों ने इंटरनेशनल सोलर अलायंस (आईएसए), एग्रीकल्चर इनोवेटिव मिशन फॉर क्लाइमेट (एआईएम4सी) सहित सीओपी26, जलवायु महत्वाकांक्षा, जलवायु वित्त, वैश्विक जलवायु पहलों से संबंधित जलवायु मुद्दों पर व्यापक विमर्श किया।