हिमशिखर खबर ब्यूरो
नई दिल्ली: 18वीं लोकसभा का स्पीकर ओम बिरला को चुन लिया गया है। लोकसभा में ध्वनिमत से बिरला को लगातार दूसरी बार लोकसभा अध्यक्ष चुना गया।
भाजपा सांसद ओम बिरला आज यानी बुधवार को लगातार दूसरी बार लोकसभा अध्यक्ष बन गए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ओम बिरला के नाम का प्रस्ताव सदन में रखा तो वहां मौजूद सदन के सदस्यों ने उन्हें ध्वनि मत से लोकसभा अध्यक्ष चुन लिया है। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी और कांग्रेसी नेता राहुल गांधी ओम बिरला को उनके आसन तक लेकर गए।
लोकसभा चुनाव का परिणाम आने और मंत्रिमंडल के गठन के बाद लोकसभा अध्यक्ष के लिए कई नाम चर्चा में आए लेकिन राजस्थान की कोटा लोकसभा सीट से लगातार तीन बार सांसद बने ओम बिरला का नाम टॉप रहा। पार्टी के शीर्ष नेतृत्व में कई पूर्व मंत्रियों को फिर से कैबिनेट में स्थान दिया था। उससे यह साफ हो गया था कि ओम बिरला को लोकसभा अध्यक्ष की कुर्सी फिर से मिलने वाली है। इसकी बड़ी वजह यह भी थी कि बिरला के कामकाज से बीजेपी नेतृत्व पूरी तरह से संतुष्ठ था। पिछले पांच साल में सदन में कभी ऐसी नौबत नहीं आई जब सत्ता पक्ष को स्पीकर की वजह से झुकना पड़ा हो।
7-8 जून की बैठक में तय किया 4+1 फॉर्मूला
सूत्रों का कहना है कि लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद जब 7 और 8 जून को दिल्ली में बैठकों का दौर चला, तब यह तय हो गया था कि राजस्थान से चार मंत्री और एक लोकसभा स्पीकर मतलब 4+1 फॉर्मूला बरकरार रखा जाए।
मंत्रिमंडल विस्तार में दे दिया था संकेत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने फिर ओम बिरला पर भरोसा जताया है। हालांकि, इसके संकेत मोदी 3.0 के मंत्रिमंडल विस्तार के दौरान ही दे दिए थे। PM मोदी ने अपनी पुरानी टीम के कई दिग्गजों के पोर्टफोलियों तक नहीं बदले थे। राजनाथ सिंह को फिर से रक्षा मंत्री और अमित शाह को दोबारा गृहमंत्री बनाया।
नितिन गडकरी, निर्मला सीतारमण, अश्विनी वैश्नव, पीयूष गोयल, भूपेंद्र यादव को पिछले पोर्टफोलियों के साथ टीम में बनाए रखा। इस कारण लग रहा था कि बिरला फिर लोकसभा अध्यक्ष बन सकते हैं।
नया रिकॉर्ड जुड़ा ओम बिरला के नाम
लगातार दूसरी बार लोकसभा अध्यक्ष बनने पर ओम बिरला के नाम एक नया रिकॉर्ड जुड़ गया है। वे देश के दूसरे ऐसे नेता बन गए हैं जो लगातार पांच साल स्पीकर रहने के बाद दूसरी बार स्पीकर बने हैं। लगातार दो बार चुने जाने और कार्यकाल पूरा करने वाले बलराम जाखड़ एकमात्र लोकसभा अध्यक्ष रहे हैं। हालांकि जीएम बालयोगी, पीए संगमा जैसे दिग्गज नेता भी दो बार लोकसभा अध्यक्ष बने थे लेकिन पूरे 5-5 साल के कार्यकाल पूरे नहीं किए। बलराम जाखड़ साल 1980 से 1985 तक और 1985 से 1989 तक अपने दोनों कार्यकाल पूरे किए थे।