आज का पंचांग: 15 मार्च, शुभ-अशुभ मुहूर्त का समय

पंडित उदय शंकर भट्ट

Uttarakhand

सुप्रभातम्,

आज आपका दिन मंगलमयी है, यही मंगलमयी है। ‘हिमशिखर खबर’ हर रोज की तरह आज भी आपके लिए पंचांग प्रस्तुत कर रही है। आज चैत मास  की 2 गते है।

आज का पंचांग

शुक्रवार, मार्च 15, 2024
सूर्योदय: 06:31 ए एम
सूर्यास्त: 06:30 पी एम
तिथि: षष्ठी – 10:09 पी एम तक
नक्षत्र: कृत्तिका – 04:08 पी एम तक
योग: विष्कम्भ – 07:46 पी एम तक
करण: कौलव – 10:42 ए एम तक
द्वितीय करण: तैतिल – 10:09 पी एम तक
पक्ष: शुक्ल पक्ष
वार: शुक्रवार
अमान्त महीना: फाल्गुन
पूर्णिमान्त महीना: फाल्गुन
चन्द्र राशि: वृषभ
सूर्य राशि: मीन
शक सम्वत: 1945 शोभकृत्
विक्रम सम्वत: 2080 नल

 

आज का विचार

जिन्दगी हमें हमेशा एक नया पाठ पढ़ाती है, लेकिन हमें समझाने के लिए नही बल्कि हमारी सोच बदलने के लिए।

मुनि मानस पंकज भृंग भजे। रघुबीर महा रनधीर अजे॥

तव नाम जपामि नमामि हरी। भव रोग महागद मान अरी॥

भावार्थ:-हे मुनियों के मन रूपी कमल के भ्रमर! हे महान्‌ रणधीर एवं अजेय श्री रघुवीर! मैं आपको भजता हूँ (आपकी शरण ग्रहण करता हूँ) हे हरि! आपका नाम जपता हूँ और आपको नमस्कार करता हूँ। आप जन्म-मरण रूपी रोग की महान्‌ औषध और अभिमान के शत्रु हैं॥

गुन सील कृपा परमायतनं। प्रनमामि निरंतर श्रीरमनं॥
रघुनंद निकंदय द्वंद्वघनं। महिपाल बिलोकय दीनजनं॥

भावार्थ:-आप गुण, शील और कृपा के परम स्थान हैं। आप लक्ष्मीपति हैं, मैं आपको निरंतर प्रणाम करता हूँ। हे रघुनन्दन! (आप जन्म-मरण, सुख-दुःख, राग-द्वेषादि) द्वंद्व समूहों का नाश कीजिए। हे पृथ्वी का पालन करने वाले राजन्‌। इस दीन जन की ओर भी दृष्टि डालिए॥

आज का भगवद् चिन्तन

कुसंग से बचें

कुसंग के प्रभाव से हमारा भजन उसी तरह नष्ट हो जाता है जिस तरह पाले के प्रभाव से हरी-भरी बेल सूखकर धीरे-धीरे नष्ट हो जाती है। हम कितना भी भजन कर लें, सत्संग कर लें लेकिन निरंतर कुसंग का सेवन करते रहे तो सुना हुआ, पढ़ा हुआ, और जाना हुआ कोई भी सुविचार आचरण में नहीं उतर पायेगा।

जीवन के उत्थान के लिए यदि सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण कोई बात है तो वो है हमारा संग।धनवान के संग से धनोपार्जन के विभिन्न साधनों का ज्ञान हो जाता है जो धनवान बना सकता है। ऐसे ही ज्ञानवान बनने के लिए ज्ञानी जनों का और धर्मवान बनने के लिए धर्मनिष्ठ महापुरुषों का संग आवश्यक हो जाता है।संग के प्रभाव से तो तोता भी राम – राम रटने लग जाता है।

प्राणियों में सद्भावना हो,

विश्व का कल्याण हो।

गौ माता की जय हो।

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