पंडित उदय शंकर भट्ट
सुप्रभातम्,
आज आपका दिन मंगलमयी है, यही मंगलमयी है। ‘हिमशिखर खबर’ हर रोज की तरह आज भी आपके लिए पंचांग प्रस्तुत कर रही है। आज फाल्गुन मास की 19 गते है।
आज का विचार
काफी अकेला हूँ, या अकेला काफी हूँ। शब्द वही है, केवल क्रम बदला है, किन्तु भावार्थ तो बिल्कुल ही बदल गया।
आज का भगवद् चिन्तन
जीवन की श्रेष्ठता
यदि उस प्रभु ने हमें यह अनमोल मानव जीवन प्रदान किया है तो इसका श्रेष्ठतम उपयोग ही बुद्धिमानी होगी। मानव जीवन प्रभु प्रदत्त सबसे अनमोल उपहार है। मनुष्य का जीवन ही एक ऐसा जीवन है जिसे पाने के लिए देवता भी तरसते हैं।
सर्वप्रथम मनुष्य जीवन मिलना ही अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि है लेकिन उसमे मनुष्यता का समाविष्ट हो जाना ही इस जीवन की परम सार्थकता है। मनुष्यता जीवन रुपी वृक्ष का फूल एवं फल है। जो वृक्ष फल अथवा फूल रहित होगा वो सदैव मूल्यहीन बना रहेगा।
हमारा प्रत्येक कर्म दूसरों के लिए प्रेरणादायी होना चाहिए। पशु, पक्षी, वृक्ष और नदियों का जीवन भी प्रकृति के लिए बहुत कुछ दे जाता है। स्वयं के लिए नहीं समष्टि के लिए जीना सीखिए, यही मनुष्य जीवन की श्रेष्ठतम उपलब्धि है।
आज का पंचांग
शनिवार, मार्च 2, 2024
सूर्योदय: 06:55 ए एम
सूर्यास्त: 06:22 पी एम
तिथि: षष्ठी – 07:53 ए एम तक
नक्षत्र: विशाखा – 02:42 पी एम तक
योग: व्याघात – 06:07 पी एम तक
करण: वणिज – 07:53 ए एम तक
द्वितीय करण: विष्टि – 08:24 पी एम तक
पक्ष: कृष्ण पक्ष
वार: शनिवार
अमान्त महीना: माघ
पूर्णिमान्त महीना: फाल्गुन
चन्द्र राशि: तुला – 08:17 ए एम तक
सूर्य राशि: कुम्भ
शक सम्वत: 1945 शोभकृत्
विक्रम सम्वत: 2080 नल
प्राणियों में सद्भावना हो,
प्राणियों में सद्भावना हो,
विश्व का कल्याण हो।
गौ माता की जय हो।