केंद्रीय कृषि मंत्री ने किसानों के लिए राष्ट्रीय खाद्य एवं पोषण अभियान का शुभारंभ किया

नई दिल्ली

Uttarakhand

केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा है कि भारत ने खाद्यान्न के क्षेत्र में बड़ी उपलब्धि हासिल की है। कृषि व सम्बद्ध उत्पादों में हमारा देश दुनिया में नंबर एक या दो पर है। आज इतना उत्पादन व बढ़ती हुई उत्पादकता हम सब के लिए गौरव व प्रसन्नता का विषय है, लेकिन आजादी के 75वें वर्ष में हम ऐसे मुकाम पर खड़े है, जहां हमें आत्मावलोकन करने के साथ ही चुनौतियां तथा उनके समाधान पर विचार करना होगा। उन्होंने यह बात किसानों के लिए राष्ट्रीय खाद्य एवं पोषण अभियान का शुभारंभ करते हुए कही। इसका आयोजन भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (आईसीएआर) ने किया।

मुख्य अतिथि तोमर ने कहा कि वर्षा आधारित व अन्य क्षेत्रों में कब-कौन सी खेती हो व किन बीजों को ईजाद किया जाए, इस पर आईसीएआर सफलतापूर्वक काम रही है। यह भी प्रयत्न किया जा रहा है कि कृषि व किसान नई तकनीक से जुड़े। उत्पादन में हमारी महारत है लेकिन इस प्रचुरता को प्रबंधित करना भी महत्वपूर्ण है। हमारे उत्पाद गुणवत्तापूर्ण हो, वैश्विक मानकों पर खरे उतरे, किसान महंगी फसलों की ओर आकर्षित हो, कम रकबे-कम सिंचाई में, पर्यावरण के मित्र रहते हुए पढ़े-लिखे युवा कृषि की ओर आकर्षित हो, यह सरकार के साथ किसानों की भी जिम्मेदारी है।

कृषि विज्ञान केंद्र (केवीके), कृषि विश्वविद्यालय व राज्य सरकारों के साथ ही भारत सरकार की कोशिश है कि किसान नई-नई चीजों को सीखे, नए बीज व तकनीकें उन तक पहुंचे लेकिन इसकी एक सीमा है, इसलिए सरकार के कृषि विस्तार कार्यक्रमों से किसान भी जुड़े तो सोने में सुहागा हो सकता है। केवीके से जुड़े किसान अन्य किसानों को उन्नत खेती के लिए प्रेरित करें व एफपीओ, एग्री इंफ्रा फंड, परंपरागत खेती के अंतर्गत जैविक खेती का रकबा बढ़ाने सहित विभिन्न योजनाओं में सभी किसानों की भागीदारी सुनिश्चित करें। हम सबकी कोशिश पूरे गांव को समृद्ध करने की होना चाहिए। इससे क्रमशः विकासखंड, जिला, राज्य और अंततः देश समृद्ध होगा व भारत आत्मनिर्भर बन सकेगा।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि कृषि हमारी प्रधानता है, कृषि ने प्रतिकूल परिस्थितियों में भी अपनी प्रासंगिकता बार-बार सिद्ध की है। कोविड संकट के बावजूद कृषि का न कोई संस्थान बंद हुआ, न उत्पादन प्रभावित हुआ बल्कि कठिन परिस्थितियों में भी ज्यादा बुआई व बंपर उत्पादन हुआ और सरकार ने पहले से ज्यादा उपार्जन किया है।

कार्यक्रम में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि वर्ष 2023 को भारत के नेतृत्व में पोषक-अनाज वर्ष मनाया जाएगा, जो हमारे लिए गर्व का विषय है। आईसीएआर के महानिदेशक डा. त्रिलोचन महापात्र ने बताया कि आईसीएआर द्वारा अधिकाधिक किसानों के बीच कृषि संबंधी उपलब्धियां महोत्सव के दौरान बताई जाएगी, साथ ही उन्हें लाभान्वित किया जाएगा। आईसीएआर के उप महानिदेशक डा. ए.के. सिंह ने कार्यक्रमों की रूपरेखा बताई।

कार्यक्रम से आईसीएआर के सचिव श्री संजय गर्ग, सभी उपमहानिदेशक-सहायक महानिदेशक तथा अन्य अधिकारी-वैज्ञानिक, कृषि विश्वविद्यालयों के कुलपति, अन्य कृषि संस्थानों के अधिकारी एवं देशभर के सभी केवीके में मौजूद हजारों किसान वर्चुअल जुड़े थे। इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री तोमर ने महोत्सव के कार्यक्रमों व गतिविधियों के संकलन पर आधारित पुस्तिका का विमोचन किया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *