ऋषिकेश।
संस्कृत छात्र सेवा समिति की ओर से गिरिधर प्रसाद सिलोड़ी की 18वीं पुण्यतिथि पर विभिन्न कार्यक्रम संपन्न हुए। इस दौरान संगीतमय सुंदरकांड पाठ एवं श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया।
सोमवार को वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ गुरु पूजन के बाद संगीतमय सुंदरकांड पाठ एवं श्रद्धांजलि कार्यक्रम किया गया। सभा को वरिष्ठ शिक्षाविद आचार्य बालकृष्ण उपाध्याय ने संबोधित करते हुए कहा कि शिक्षाविद स्व. गिरधर प्रसाद सिलोड़ी जी का संपूर्ण जीवन समाज एवं शिक्षा के लिए समर्पित रहा उनका सदा जीवन उच्च विचार हैं हम सब के लिए प्रेरणादायक है ।
श्री दर्शन महाविद्यालय के प्रबंधक संजय शास्त्री ने सिलोड़ी जी पर प्रकाश डालते हुए कहा की सिलोड़ी जी ने जीवन त्याग और तपस्या का जीवन था। उन्होंने हजारों छात्रों को शिक्षा प्रदान की इसके साथ राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मध्यम से उन सभी में राष्ट्र प्रेरणा की अलख जगायी। उन्होंने कहा कि उनका जीवन एक आदर्श जीवन है, हम सबको उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए। विशेष कर युवा पीढी को क्योंकि युवा पीढी ही समाज का नेतृत्व करती है अगर हमारे युग आदर्श एवं अनुशासित जीवन जियेंगे तो समाज भी आदर्श एवं अनुशासित होगा।
आचार्य शांति प्रसाद मैठानी, डॉ जनार्दन कैरवान, आचार्य नरेंद्र सकलानी, जितेंद्र भट्ट, मणिराम पैन्यूली, सुभाष डोभाल, मनोज प्रपन्नाचार्य महंत रवि प्रपन्नाचार्य ने श्रद्धांजलि सभा में अपने विचार रखे। इस अवसर पर पुरुषोत्तम कोठारी, सुशील नौटियाल, अरविंद सिलोड़ी दिवाकर सिलोड़ी संस्कृत छात्र सेवा समिति के अध्यक्ष सर्वेश तिवारी, महामंत्री विनोद नौटियाल पूर्णानंद सिलस्वाल, अभिषेक मैठाणी, शुभम नौटियाल आकाश जुयाल राकेश नौटियाल विजेंद्र गौड़, शुभम सिलस्वाल गोपीचंद्र, हरीश सिलस्वाल प्यारेलाल तिवारी आदि उपस्थित थे ।