आज का पंचांग: चिंता से बचे रहें

पंडित उदय शंकर भट्ट

आज आपका दिन मंगलमयी हो, यही मंगलकामना है। ‘हिमशिखर खबर’ हर रोज की तरह आज भी आपके लिए पंचांग प्रस्तुत कर रहा है।

कैलेंडर

तिथिअष्टमी सायं 06:58 बजे तक
नक्षत्रउत्तरा आषाढ़ 12:37 PM तक
नवमी
श्रावण
योगसाध्य रात्रि 11:00 बजे तक
करणबलवा 07:04 AM तक
शुभ प्रभात
कौलव 06:58 PM तक
काम करने के दिनसोमवारा
शीर्षक
पक्षकृष्ण पक्ष

चंद्र मास, संवत और बृहस्पति संवत्सर

विक्रम संवत2082 कलायुक्त
संवत्सरकालायुक्त 03:07 अपराह्न, 25 अप्रैल 2025 तक
शक संवत1947 विश्वावसु
सिद्धार्थी
गुजराती संवत2081 नाला
चन्द्रमासावैशाख – पूर्णिमांत
दायाँ/गेट8
चैत्र – अमंता

राशि और नक्षत्र

राशिमकर
नक्षत्र पदउत्तरा आषाढ़ 06:29 AM तक
सूर्य राशिमेशा
उत्तरा आषाढ़ 12:37 PM तक
सूर्य नक्षत्रअश्विनी
श्रावण 06:43 PM तक
सूर्य पदअश्विनी
श्रावण 12:46 AM, अप्रैल 22 तक
श्रावण

आज का विचार

जो व्यक्ति सभ्य है, उनके साथ सभ्य बने रहे। किसी के ओछेपन के चलते अपना चरित्र नीचे करने का कोई ओचित्य नहीं है। अनुशासन लक्ष्यों और उपलब्धियों के बीच पुल है.!

आज का भगवद् चिन्तन

चिंता से बचे रहें

जीवन में केवल चिंता करने मात्र से कठिनाइयाँ हल नहीं हो जाती हैं। चिन्ता हमारे चिंतन की क्षमता को अवरुद्ध कर देती है और यही अवरोध तो हमारे दुःखों का मूल कारण है। वह एक बार नहीं आजीवन चिंता की अग्नि में जलता रहता है। चिंता करने मात्र से आने वाली समस्या का हल तो नहीं होता है लेकिन वर्तमान की शांति अवश्य भंग हो जाती है। चिंताग्रस्त मस्तिष्क गेंहूँ में घुन लगे उस दाने के समान होता है जो बाहर से साबुत दिखते हुए भी अंदर से खोखला हो जाता है।

किसी भी समस्या के आ जाने पर उसके समाधान के लिए विवेकपूर्ण निर्णय ही चिन्तन है। चिन्तनशील व्यक्ति के लिए कोई न कोई मार्ग अवश्य मिल ही जाता है। जिसके पास विवेक है, वह समस्या के आगे से हटता नहीं अपितु डटता है।जीवन में किसी भी समस्या का डटकर मुकाबला करना आधी सफलता प्राप्त कर लेना भी है। जीवन में विवेक की चाबी से समस्या के ताले अवश्य खुल जाते हैं।

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